कसूर उन कश्तियों का नहीं जो मझधार में उलझ गयी …
ये तो कुछ झोके चले थे फिजाओं के .. साहिलों से ग़ालिब …
Hindi Shayari – Poetry In Hindi
Best Hindi Sher O Shayari And Ghazal Collection
कसूर उन कश्तियों का नहीं जो मझधार में उलझ गयी …
ये तो कुछ झोके चले थे फिजाओं के .. साहिलों से ग़ालिब …